आज आएंगे तिमाही के आंकड़े , क्या होगा भारतीय अर्थव्यवस्था पर असर ?
रेटिंग एजेंसीज का अनुमान आने वाले दिनों में ऋणात्मक होगी अर्थव्यवस्था
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नई दिल्ली- जनवरी-मार्च 2020 तिमााही के सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) के आंकड़े कल जारी होंगे। इन आंकड़ों से कोरोना वायरस से भारतीय अर्थव्यवस्था पर क्या प्रभाव हुए इसकी एक झलक दिखाई देगी। शुक्रवार को बाजार बंद होने के बाद आने वाले आंकड़े अर्थव्यवस्था का दर्द बयान करेंगे।
अर्थशास्त्रियों में इसे लेकर अलग अलग राय है। वहीं एक बात साझा है कि अर्थव्यवस्था मंदी के दौर से गुजर रही है और वित्त वर्ष 20-21 में वृद्धि 5 प्रतिशत संकुचन हो सकता है ।
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नोमुरा का कहना है कि 2020 में सालाना आधार पर जीडीपी वृद्धि दर 5 प्रतिशत संकुचित होगी और लगातार तीन तिमाहियों में ऋणात्मक बनी रहेगी। हमारे तिमाही अनुमान में पहली तिमाही (जनवरी मार्च 2020) में वृद्धि दर 1.5 प्रतिशत रहेगी, जबकि अप्रैल जून में 14.5 प्रतिशत सिकुड़ेगी। उसके बाद की तिमाही में -6 प्रतिशत और अक्टूबर-दिसंबर 2020 में वृद्धि दर -1.5 रहेगी।
एसएंडपी ने एक बयान में कहा, ‘चालू वित्त वर्ष के लिए ग्रोथ के अपने पूर्वानुमान को हमने घटाकर नेगेटिव पांच फीसद कर दिया है। रेटिंग एजेंसी का मानना है कि तीसरी तिमाही में कोरोना वायरस महामारी का प्रकोप और ज्यादा पर होगा। इससे पहले फिच और क्रिसिल जैसी रेटिंग एजेंसियां भी मौजूदा वित्त वर्ष में भारतीय अर्थव्यवस्था के लिए पांच फीसद के संकुचन का पूर्वानुमान लगा चुकी हैं।
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