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नई दिल्ली- भारत और चीन के बीच लद्दाख टेंशन बढ़ने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने सेनाओं को उचित कार्रवाई करने के आदेश दिए हैं। जिसके बाद भारतीय वायु सेना ने अपने संसाधनों को चाक-चौबंद करना शुरू कर दिया है। वायुसेना ने भारत सरकार को रूस से लड़ाकू विमान खरीदने के संबंध में एक प्रस्ताव भेजा है। जिसमें सेना (Indian Air Force) ने सरकार के समक्ष रूस से 33 नए लड़ाकू विमान प्राप्त करने के प्रस्ताव को आगे बढ़ाया है। सूत्रों के मुताबिक इसमें 21 मिग -29 और 12 Su-30MKIs लेने का प्रस्ताव शामिल है। जिसे हासिल करने के बाद वायु सेना की ताकत और बढ़ जाएगी।
India to buy 12 new Sukhois, 21 MiG 29s fighter jets to strengthen Indian Air Force. @gauravcsawant and @ShivAroor get us more details.
LIVE with @RahulKanwal https://t.co/4fqxBVUizL pic.twitter.com/nteLbtOjqH— IndiaToday (@IndiaToday) June 18, 2020
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सरकारी सूत्रों ने एएनआई को बताया “वायु सेना कुछ समय से इस योजना पर काम कर रही है, लेकिन उन्होंने अब इस प्रक्रिया को तेजी से ट्रैक किया है और 6,000 करोड़ रुपये से अधिक की लागत वाले प्रस्तावों को रक्षा मंत्रालय के समक्ष अगले सप्ताह उच्च स्तरीय बैठक में अप्रूवल के लिए भेजा जाएगा।
भारतीय वायुसेना जो 21 मिग 29 का लेने की योजना बना रही है, उन्हें रूस ने वायु सेना को नए लड़ाकू विमानों की आवश्यकता को पूरा करने में मदद करने के लिए इन विमानों को बेचने की पेशकश की है.वायु सेना ने यह जांचने के लिए एक अध्ययन किया है कि मिग -29 की एयरफ्रेम लंबे समय तक काम करने के लिए पर्याप्त हैं और वे लगभग नई स्थिति में पाए गए हैं। मिग -29 को वायु सेना द्वारा उड़ाया जाता है और पायलट इससे परिचित होते हैं। वायु सेना के पास मिग -29 के तीन स्क्वाड्रन हैं।
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दरअसल, हाल ही में गलवान घाटी पर चीन की सेना ने जो धोखा किया और पूर्वी लद्दाख में चीनी सैनिकों द्वारा वास्तविक नियंत्रण रेखा के साथ सैन्य निर्माण किए जाने के बाद भारत और चीन के बीच 5 मई से विवाद जारी है, जहां उन्होंने 10,000 से अधिक सैनिकों को तैनात किया है. दोनों देशों के बीच ये तनातनी 15-16 जून को हिंसक झड़प में बदल गई थी जिसमें कि भारत के 20 जवान शहीद हो गए वहीं चीन के भी कई जवान हताहत हुए हैं।
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