सियाचिन में चीन कर सकता है हरकत, भारत ने भेजी स्पेशल फोर्स
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नई दिल्ली-चुसूल सेक्टर में भारतीय सेना ने अपनी स्थिति मजबूत कर ली है। चीन भारत की मजबूत स्थिति से घबराया हुआ है। पीएलए को अपने राजनैतिक नेतृत्व को जवाब देते नहीं बन रहा है। भारत की सेना लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल (LAC) पर बॉर्डर को सेफ रखने वाले मोड में आ गई है। पैंगोंग झील के दक्षिणी किनारे पर मुंह की खाने के बाद चीनी सेना के जवाबी ऐक्शन की पूरी संभावना है। पीपल्स लिबरेशन आर्मी (PLA) ने चुशूल सेक्टर में आक्रामक रुख दिखाया है। इसके अलावा अब उसका फोकस अक्साई चिन इलाके की तरफ जाता लग रहा है। पिछले कुछ दिनों में वहां पीएलए एयरफोर्स की खासी हलचल नोटिस की गई है। जवाब में भारत ने भी अडिशनल फोर्स, हथियार, गोला-बारूद जुटा लिया है।
सियाचिन में दिख रहा है पीएलए का मूवमेंट
सियाचिन से लगते इलाके में पीएलए का मूवमेंट दिख रहा है। जिसको ध्यान में रखते हुए भारतीय सेना ने अपनी स्पेशल फोर्सेज का सियाचीन की तरफ मूव किया है । वहां आधुनिक हथियारों के ट्रूप्स को मूव किया गया है। भारतीय सेना ने देपसांग के मैदानी इलाकों के पास चीनी फोर्सेज की मौजूदगी देखते हुए खास तैनाती की है। वहां पर हथियारबंद और मशीन के मिक्स वाले खास लड़ाकू समूह को तैनात किया गया है। चुमुर में भी पीएलए के मुकाबले में स्पेशल ग्रुप भेजा गया ताकि चीनी सेना को साफ संदेश मिले कि भारत एक इंच जमीन देने को तैयार नहीं है। देमचोक और चुमुर इलाके में भारत की पकड़ मजबूत हे। यहां भारत की नजर ल्हासा-काशगर (219) हाइवे पर रहती है जो पीएलए की लॉजिस्टिक्स सप्लाई के लिए बहुत अहम है।
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अहम फैसले ऑनस्पॉट लिए जा रहे हैं
चीन ने पैंगोंग झील के पास हुई झड़प के लिए भारत को जिम्मेदार ठहराया। जबकि भारत ने साफ कहा कि चीनी टुकड़ी को आगे बढ़ता देख भारत ने पहले ही ऊंचाइयों पर कब्जा कर लिया। डिप्लोमेटिक और मिलिट्री लेवल पर बातचीत के बावजूद चीन LAC पर अप्रैल 2020 से पहले वाली स्थिति बहाल नहीं कर रहा है। भारत ने खुद को हर परिस्थिति के लिए तैयार कर लिया है। अब फैसले हेडक्वॉर्टर लेवल पर नहीं, ऑन द स्पॉट हो रहे हैं।
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