तेजप्रताप के बयानों से हो रहा है आरजेडी को नुकसान, क्या लालू देंगे तेज को नसीहत
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नई दिल्ली- लालू प्रसाद एम्स में इलाज करा रहे हैं। लेकिन तेजप्रताप यादव के बयान उनके लिए मुश्किल बढ़ा रहे हैं। इलाज करा रहे लालू यादव को डर सता रहा है कि कहीं तेजप्रताप के बयानों के चलते राजपूत वोट नाराज न हो जाए और इसका खामियाजा आरजेडी को राजपूत वोटों को खोकर चुकाना पड़े ,इसलिए लालू प्रसाद यादव बेटे तेजप्रताप यादव से काफी नाराज बताए जा रहे हैं। सूत्रों का कहना है कि दिल्ली में ईलाज करा रहे लालू यादव ने तेज प्रताप यादव को समझाने के लिए अपने पास बुलाया है। तेजप्रताप अपने पिता से मिलने के लिए दिल्ली पहुंच चुके हैं।
जगदानन्द सिंह पर तेजप्रताप से बयान से लालू नाराज
लालू यादव, तेजप्रताप यादव द्वारा राजपूत नेताओं के खिलाफ दिए गए बयानों से चिंतित हैं। तेजप्रताप का व्यवहार वरिष्ठ राजपूत नेताओं के प्रति अच्छा नहीं रहा है। पिछले साल बिहार विधानसभा चुनाव से ठीक पहले तेजप्रताप यादव ने रघुवंश प्रसाद जैसे वरिष्ठ नेता की तुलना एक लोटा पानी से कर दिया था। अब उन्होंने जगदानन्द सिंह को लेकर आपत्तिजनक बयान दे दिया है। लालू को डर है कहीं राजपूत नेता नाराज होकर बीजेपी की पाले न चले जाए। दरअसल बिहार में करीब पांच प्रतिशत के करीब राजपूत वोट हैं उन्हें बिहार में बाबूसाहव कहा जाता है। वैसे तो लालू की राजनीति ‘भूरा बाल साफ करो’ पर आधारित रही है लेकिन राजपूत जाति को लालू लगातार तवज्जो देते रहे हैं। इसी को ध्यान में रखते हुए उन्होंने जगदानन्द सिंह को आरजेडी प्रदेश अध्यक्ष बनाया हुआ है।
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बीजेपी डाल रही है आरजेडी के राजपूत नेताओं पर डोरे
बीजेपी आरजेडी के राजपूत नेताओं को लगातार अपने पाले में लाने की लिए प्रयासरत है। यही वजह है कि मौजूदा नीतीश सरकार में राजपूत समाज के कई मंत्री बनाए गए हैं। बीजेपी और जेडीयू दोनों ने ही दो-दो राजपूत मंत्री बनाया है। बीजेपी ने गोपालगंज से जीते सुभाष सिंह और सुपौल जिले की छातापुर से विधायक नीरज सिंह बबलू को मंत्रिमंडल में जगह दी है जबकि जेडीयू ने पूर्णिया के धमदहा से विधायक लेसी सिंह और जमुई से निर्दलीय विधायक सुमित कुमार सिंह को जगह दी गई है।
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